अमित शाह के हस्तक्षेप से बागी BJP जिलाध्यक्ष लौटे एनडीए में, JDU को मिली चुनावी राहत

लौकहा विधानसभा क्षेत्र में भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष ऋषिकेश राघव ने निर्दलीय चुनाव लड़ने की योजना छोड़कर एनडीए प्रत्याशी सतीश साह का समर्थन किया। अमित शाह के हस्तक्षेप से जदयू को चुनावी राहत मिली।

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ऋषिकेश राघव ने छोड़ा निर्दलीय रास्ता, एनडीए में लौटकर JDU को मिली राहत

लौकहा विधानसभा क्षेत्र में चुनावी सरगर्मी के बीच बड़ा राजनीतिक घटनाक्रम सामने आया है। भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष ऋषिकेश राघव, जो इस बार निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में मैदान में उतरने वाले थे, उन्होंने अब एनडीए प्रत्याशी सतीश साह का समर्थन करने का फैसला किया है।

जानकारी के अनुसार, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने स्वयं ऋषिकेश राघव को पटना बुलाकर एनडीए प्रत्याशी के पक्ष में काम करने का निर्देश दिया। इसके बाद राघव ने पार्टी नेतृत्व को आश्वस्त किया कि वे एनडीए प्रत्याशी के पक्ष में कार्य करेंगे।

ऋषिकेश राघव तेली समाज से आते हैं, जबकि एनडीए प्रत्याशी सतीश साह हलवाई समाज से हैं। 2020 के चुनाव में तेली समाज के वोटर जदयू को छोड़कर राजद के पक्ष में चले गए थे। वहीं, 2015 में भाजपा के प्रत्याशी रहे स्व. प्रमोद प्रियदर्शी ने तेली समाज का समर्थन लिया था, जिससे जदयू को राजद के वोटरों का फायदा मिला।

पिछले दो चुनावों से देखा गया कि तेली समाज जदयू से दूर रहा है। ऐसे में इस बार अगर ऋषिकेश राघव मैदान में आते, तो एनडीए प्रत्याशी के लिए चुनौती बड़ी हो सकती थी। स्थानीय नेताओं ने यह बात शीर्ष नेतृत्व तक पहुँचाई, जिसके बाद अमित शाह ने उन्हें पटना बुलाकर मनाया और चुनावी समीकरण एनडीए के पक्ष में किए।

ऋषिकेश राघव ने रविवार को नरहिया स्थित अपने आवास पर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर एनडीए को समर्थन देने की घोषणा की। इस कदम से जदयू को निश्चित रूप से चुनावी राहत मिली है।

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