K. Durga Rao
कांड्रा : ईचागढ़ के पूर्व विधायक अरविंद सिंह उर्फ मलखान सिंह भाजपा से इस्तीफा देकर निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने जा रहे हैं। वे गुरुवार को अपना नामांकन पर्चा दाखिल करेंगे। गुरुवार को उन्होंने चांडिल डैम रोड स्थित बीएन पैलेस में एक पत्रकार वार्ता आयोजित कर इसकी जानकारी दी। उन्होंने कहा कि वे 35 वर्षो से ईचागढ़ विधानसभा से जुड़े हुए हैं। इस क्रम में वे तीन बार विजयी भी हुए और हारे भी। पिछले दस साल में वह दो बार चुनाव हारे। इसके बावजूद वह इस क्षेत्र की जनता से जुड़े रहे। कुछ आपदाएं भी आई और वे बीमार भी हुए, इसके बावजूद वह क्षेत्र से जुड़े रहे।
क्षेत्र के विकास में नहीं छोड़ी कोई कसर
पूर्व विधायक ने अपने तीन टर्म के कार्यकाल में किये गए कार्यों पर काफी संतुष्टि जाहिर की। कहा कि उन्होंने जो काम किया है, वैसा काम झारखंड भर के किसी विधायक ने नहीं किया। शिक्षा, स्वास्थ्य, नियोजन, खेल व क्षेत्र के विकास में कोई कसर नहीं छोड़ी। वर्ष 2005 में चुनाव हारने पर उन्होंने कहा कि वे इस चुनाव में कैसे हार गए उन्हें पता तक नहीं चला। इसके बाद जानकारी मिली कि कुछ लोग बेहद ही गंदी राजनीति करते हैं, वे उसका शिकार गए।
आजसू का जनाधार झारखंड में कमजोर
भाजपा में शामिल होने पर अरविंद सिंह ने कहा कि पिछले दस वर्षों में भाजपा काफी मजबूत हुई है। कार्यकर्ताओं ने पिछले दो एमपी-एमएलए चुनाव में प्रत्याशियों को रिकॉर्ड मतों से जिताया। ईचागढ़ सीट पारंपरिक रूप से भाजपा की रही है। किसी भी एंगल से आजसू की झोली में जाने की बात नहीं थी। उन्होंने पिछले कुछ चुनाव का आंकड़ा प्रस्तुत करते हुए बताया कि आजसू का जनाधार झारखंड में कितना कमजोर है।
एनडीए गठबंधन के तहत आजसू प्रत्याशी को टिकट दिए जाने पर अरविंद सिंह ने बिना किसी का नाम लिए कहा कि “वो एक बिजनेसमैन है, अपने प्रभाव से न जाने किस तरह से ऊपर के नेताओं को मैनेज किया और बीजेपी के मुंह से ये सीट निकाल ली। पिछले दिनों से वे चुप बैठे थे कि भाजपा इस पर पुनः विचार करेगी, लेकिन पार्टी ने इस पर कोई संज्ञान नहीं लिया। इसलिए उन्होंने अब निर्णय लिया है कि भाजपा से इस्तीफा देंगे और निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ेंगे। अपने समर्थकों के साथ 24 अक्टूबर को ईचागढ़ से नामांकन करेंगे। उन्होंने कहा कि उनके साथ जनता का पूरा समर्थन है। यह लड़ाई एक पूंजीपति और साधारण व्यक्ति के बीच की है। जनता इस बात को बखूबी समझती है, और उन्हें पूरा विश्वास है कि जनता का आशीर्वाद उन्हें मिलेगा। कहा कि जीतने के बाद निर्णय लेंगे कि कहां जाना है।